ब्रिटेन में संगठितअपराध के एक बड़े नेटवर्क का खुलासा, सैकड़ों गिरफ्तार

(मीडिया स्वराज डेस्क)

ग्रेट ब्रिटेन की राष्ट्रीय अपराध एजेंसी (NCA) ने ड्रग्स, हथियारों और गैर कानूनी लेनदेन में लिप्त एक बड़े आपराधिक नेटवर्क का खुलासा किया है. कुल 3 महीनों तक चले, यूरोप की कई पुलिस एजेंसियों के एक साझा आपरेशन के बाद इस नेटवर्क से जुड़े 800 से ज्यादा लोग अब तक पकड़े जा चुके हैं. जिनमे से 746 ब्रिटेन के नागरिक हैं. इसमे कुछ रसूखदार व्यक्तियों के नाम भी शामिल हैं.

एन्क्रो चैट नामक एक सीक्रेट मेसेजिंग सर्विस को जब पुलिस ने इंटरसेप्ट किया और उसमे भेजे गए तमाम गुप्त संदेशों को डिकोड किया गया तब पता चला कि यह असल मे संगठित तौर पर अपराधियों का एक नेटवर्क था जो नशे, हथियार, हवाला, आदि के कारोबार में लिप्त थे.
समाचार एजेंसी बीबीसी के हवाले से बताया गया है कि यूरोप के कई देशों की पुलिस ने महीनों चले एक साझा ऑपरेशन के तहत बड़े ही गोपनीय तरीके से ऑनलाइन माध्यमों से चल रहे इस तंत्र में सेंध लगाई. जिसके बाद इससे जुड़े 800 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया. यह गिरफ्तारियां यूरोप महाद्वीप के अलग अलग स्थानों से की गईं. साथ ही 2 टन ड्रग्स, दर्जनों बंदूकें और करीब 5.40 करोड़ पाउंड की
नकद राशि भी जब्त की गई. जांच की शुरुआत फ्रांस और नीदरलैंड की पुलिस ने शुरू की थी, ब्रिटेन की जांच एजेंसी इसमे बाद में
शामिल हुई. साथ ही यूरोपीय संघ में कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए जिम्मेदार संगठन यूरोपोल की भी मदद ली गयी.

यूरोपोल की ओर से हेग में आयोजित एक आधिकारिक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया गया है कि नेटवर्क का पर्दाफाश करने के लिए एन्क्रोचैट सर्विस के भीतर सेंध लगाई गई, उन पर चल रहे गोपनीय मेसेजों को डिकोड किया गया. इस हैकिंग को अंजाम देने के बाद ही बड़े पैमाने पर चल रहे अपराध, भ्रष्टाचार, हत्या, नशाखोरी और हिंसा फैलाने वाले इस संगठित नेटवर्क को पकड़ा जा सका है. अकेले ब्रिटेन की मेट्रोपोलिटन पुलिस ने इस नेटवर्क का हिस्सा बने 171 गिरफ्तार लोगों से करीब 1.33 करोड़ पाउंड का कैश बरामद किया है. मेट्रोपोलिटन पुलिस इस को बड़ी सफलता के रूप में देख रही है. उनके प्रवक्ता ने बताया कि अभी कई परतें खुलनी बाकी हैं, आने वाले समय मे और भी अधिक लोग पकड़े जा सकते हैं.

नेटवर्क में सेंध लगा पाना बहुत कठिन था. NCA की निदेशक निक्की हॉलैंड ने बताया, एक बड़ी तैयारी के साथ कुछ व्यक्तियों को इस नेटवर्क में शामिल कराया गया जिससे हमें समय समय पर उनकी गतिविधियों का पता चलता रहे. तकरीबन 60 हज़ार लोग फ्रांस स्थित एन्क्रो चैट के सदस्य थे जिनमे 10 हज़ार ब्रिटिश नागरिक ही थे. हालांकि उक्त सोशल मीडिया प्लेटफार्म को इस घटना के सामने आने के बाद से बन्द कर, उसको हटा लिया गया है

दिखने में बेहद सामान्य लगने वाला यह एप्प एंड्राइड फ़ोन पर उपलब्ध था जो कि दावा करता था कि वह यूजर को चिंतामुक्त और सुरक्षित कम्युनिकेशन उपलब्ध कराएगा. अपराध के लिए विशेष प्रकार के कस्टमाइज्ड एंड्राइड फ़ोन इस्तेमाल होते थे, जिन पर की गई चैट, मेसेज, समेत अन्य जानकारियां एक निश्चित अवधि के बाद स्वतः डिलीट हो जाती थीं और उनको किसी भी तरह से वापस नही लाया जा
सकता था. साथ ही बताया जा रहा है कि एन्क्रो चैट ने गोपनीयता की गारेंटी देते हुए विशेष प्रकार के एन्क्रिप्टेड फीचर फ़ोन भी उपभोक्ताओं को उपलब्ध कराए थे, जिनकी कीमत 900 पाउंड थी तो 6 महीने के लिए सर्विस के सब्सक्रिप्शन की कीमत 1350 पाउंड रखी गयी. इसके साथ एक इमरजेंसी प्रावधान भी था जिसके द्वारा लॉक स्क्रीन पर एक चार अंकों का कोड डालने मात्र से उस डिवाइस का समूचा डेटा मिटाया जा सकता था. NCA ने बताया कि इस मैसेज सिस्टम का उपयोग आपराधिक तत्व एक तरह के बाजार के तौर पर करते थे. जिसके द्वारा खास तरह के नशीले समान, घातक हथियारों, जिनमे राइफल, पिस्तौल, मशीन गन, हैंड ग्रेनेड तक शामिल हैं को विश्व भर में खरीदा और बेचा जाता था. नेटवर्क में सेंध लगाने के बाद खुफिया तंत्रों की अगली समस्या थी उन एन्क्रिप्टेड संदेशों को हल करना और उनके असली मतलब समझ पाना. इसमे सफलता 1 अप्रैल के बाद मिलना शुरू हुई. माना जा रहा है कि इस नेटवर्क के माध्यम से तमाम गिरोहों ने एक दूसरे पर हमले भी अंजाम दिए, साथ ही पैसे और ड्रग्स का भी बड़े पैमाने पर लेनदेन किया गया. इसके अलावा लोगों को जान से मारने की, अंग भंग कर देने की, यहां तक कि एसिड अटैक तक की धमकियां दी जाती थीं.

पुलिस ने बताया कि इस बड़े नेटवर्क की धरपकड़ में लॉक डाउन ने बड़ी सहायता की. ज्यादातर अपराधी घरों में बंद थे, और उनको ट्रैक कर के छापा मार पाना आसान हो गया. गिरफ्तार लोगों में ज्यादातर मझोले किस्म के अपराधी हैं वहीं कुछ बड़ी मछलियां भी पकड़ में आयी हैं. यूरोपोल ने बताया कि जब फ्रांस पुलिस को यह भनक लगी कि एन्क्रो चैट के सर्वर उसी देश मे कहीं पर स्थापित किये गए हैं तो उन्होंने विशेष योजना के तहत कुछ तकनीकी डिवाइस रखवाए जिससे चैट के मैसेज पढ़े जा सकें.

जून के महीने में एन्क्रो चैट पर कानूनी कार्रवाई को लेकर तमाम अफवाहों का बाजार गर्म था. नीदरलैंड पुलिस के अनुसार जब यूज़र्स को यह समझ आने लगा कि उनके मेसेज पुलिस द्वरा पढ़े जा रहे हैं, तो लोगों ने वह फोन फेकने शुरू कर दिए, किंतु तब तक देर हो चुकी थी और पुलिस ने लाखों संदेश डिकोड कर लिए थे. इसके बाद बड़े पैमाने पर अपराधियों की धर पकड़ शुरू हो गयी. लंदन में इस संगठित अपराध के द्वारा पुलिस उन लोगो तक पहुचने में कामयाब रही जिनके हाथ जघन्य अपराधों और बड़े स्तर की हिंसा से रंगे हुए थे.

Leave a Reply

Your email address will not be published.

3 × three =

Related Articles

Back to top button