सोनम वांगचुक पाँच दिनों से लेह के एन डी एस स्टेडियम में आमरण अनशन पर
लद्दाख के सामाजिक कार्यकर्ता सोनम वांगचुक पाँच दिनों से लेह के एन डी एस स्टेडियम में आमरण अनशन पर बैठे हैं। माइनस सोलह डिग्री में बर्फ से ढका लेह लदाख जन असंतोष की आग से धधक रहा है।
यह असंतोष केंद्र सरकार की वादाख़िलाफ़ी के ख़िलाफ़ है।चीन की सीमा पर बसे लद्दाख के लोगों की माँग है कि राज्य का दर्जा दिया जाये और संविधान की छठवीं अनुसूची लागू की जाए।
इन माँगों को लेकर पहले लेह में विशाल प्रदर्शन हुए। लेकिन सरकार ने ध्यान नहीं दिया। नेशनल मीडिया ने भी लद्दाख के लोगों की आवाज़ नहीं सुनी।
सोनम वांगचुक पेशे से इंजीनियर और सामाजिक कार्यकर्ता हैं। वह शिक्षा पद्धति में सुधार के लिए भी जाने जाते हैं। सोनम वांगचुक से प्रेरित होकर आमिर ख़ान ने थ्री इडिअट्स फ़िल्म बनायी थी। फ़िल्म का एक पात्र फुंसुख वांगचुक बिलकुल सोनम वांगचुक जैसा ही लगता है। सोनम वांगचुक को लद्दाख के लोगों का प्रबल जन समर्थन है।
सोनम वांगचुक का कहना है कि उनका उपवास स्वतंत्रता संग्राम के दौरान महात्मा गांधी के उपवास से प्रेरित है।अपना अनशन शुरू करने से पहले सोनम ने लेह में एक विशाल सभा को संबोधित किया।
सोनम का कहा है मेरा लक्ष्य महात्मा गांधी का शांतिपूर्ण मार्ग का अनुसरण करना है, जिसमें हम बिना किसी को चोट पहुँचाए ख़ुद कष्ट सहते हैं। सोनम अपने अनशन से सरकार का ध्यान लद्दाख के लोगों की समस्याओं की तरफ़ आकर्षित करना चाहते हैं। उनका मक़सद सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी और मोदी सरकार को uसके वादों की याद दिलाना है।