महापर्व छठ की तैयारी शुरू
5 नवम्बर से छठ सम्बन्धी गीतों की ऑनलाइन कार्यशाला
लखनऊ। सूर्योपासना के महापर्व छठ को लेकर तैयारी शुरू कर दी गई है। मंगलवार को अन्तरराष्ट्रीय भोजपुरी सेवा न्यास ने छठ के पारम्परिक गीतों की कार्यशाला कराने, पूजा महात्म्य को लेकर स्मारिका प्रकाशित करने, राजधानी के झूलेलाल घाट पर चार दिवसीय कार्यक्रम कराने की घोषणा की तथा इसको लेकर जिलाधिकारी व पुलिस कमिश्नर को आयोजन की रूपरेखा सम्बन्धी पत्र भी सौंपा।
उक्त जानकारी देते हुए न्यास के अध्यक्ष परमानंद पांडेय ने बताया कि आगामी 5 नवम्बर से 11 नवम्बर तक वरिष्ठ लोक गायिका श्रीमती आरती पाण्डेय के निर्देशन में छठ सम्बन्धी गीतों की आनलाइन कार्यशाला आयोजित की गई है जिसमें छठ सम्बन्धी गीतों का प्रशिक्षण दिया जायेगा। इसके साथ ही न्यास द्वारा छठ से जुड़ी परम्पराओं व लोकाचारों पर केन्द्रित एक स्मारिका भी प्रकाशित की जायेगी। उन्होंने बताया कि कोविड महामारी को देखते हुए इस बार छठ पूजा का पारम्परिक आयोजन सादगीपूर्ण ढंग से सावधानी बरतते हुए कराये जाने पर सहमति बनी है। मंगलवार को गोमती नगर के विशेष खंड स्थित शिविर कार्यालय पर हुई न्यासी मण्डल की बैठक में आयोजन के स्वरूप और तैयारियों पर चर्चा की गई। इसके तहत 18 नवम्बर को घाट की सफाई, 19 नवम्बर को भोजपुरी कवि सम्मेलन तथा 20 व 21 नवम्बर को अनवरत सांस्कृतिक अनुष्ठान प्रस्तावित हैं। मौके पर स्वास्थ्य, सूचना, पर्यटन व अन्य विभागों से प्रदर्शनी लगाने, मिशन शक्ति के अन्तर्गत जनजागरण अभियान संचालित करने हेतु भी सम्बन्धित से सम्पर्क स्थापित किया जायेगा।
न्यासी मण्डल की बैठक में उत्तर प्रदेश भोजपुरी अकादमी की स्थापना सम्बन्धी शासन में लम्बित प्रकरण के निस्तारण हेतु मुख्यमंत्री से मिलने तथा संविधान की आठवीं अनुसूची में भोजपुरी को सम्मिलित कराने हेतु राज्य विधानमण्डल से प्रस्ताव पारित कर केन्द्र सरकार को भिजवाने के लिए अभियान चलाने का भी निर्णय लिया गया। बैठक में सर्वश्री दुर्गा प्रसाद दुबे, दिग्विजय मिश्र, राधेश्याम पाण्डेय, हरीश श्रीवास्तव, दशरथ महतो अखिलेश द्विवेदी, शशिकान्त मिश्र, शाश्वत पाठक, ऊषाकान्त मिश्र, निर्मलेन्द्र नाथ त्रिपाठी, सुनील मिश्र, गयानाथ यादव समेत न्यासी मण्डल के सदस्य उपस्थित रहे। संचालन न्यास के महासचिव एस.के. गोपाल ने किया।